विवाद रहित समाज हो तपोभूमि प्रणेता हाथ उठवा कर दिलाये पांच अनोखे संकल्प

मुम्बई।गोरेगाँव- अनोखी गुरु पूर्णिमा महोत्सव ने लिखा मुम्बई में एक नया इतिहास गुरु दक्षिणा पर लिया तपोभूमि प्रणेता ने भक्तो से अनोखा संकल्प परमाणु महाव्रत के रूप में पाँच संकल्प गुरु पूर्णिमा तो हर साल मनाई जाती है और मनाई जाती रहेगी पर इस वर्ष की गुरु पूर्णिमा जन्मों भक्तो को याद रहेगी क्योंकि इस वर्ष मुनिश्री प्रज्ञा सागर जी महाराज ने गुरु पूर्णिमा पर आए अपने अपार भक्तो से पहली बार गुरु दक्षिणा के रूप ने पाँच अनोखे संकल्प दिलाये परमाणु व्रत संकल्प अभियान के अंतर्गत मुनि श्री ने उपस्थित अपार जन समूह को हाथ उठवा कर पाँच संकल्प दिलाये।
1. गाड़ी चलाते समय मोबाइल करने का त्याग।
2.घर बाहर सभी जगह पर थाली में झूठन छोड़ने का त्याग।
3.जिन होटलों ढाबों में वेज-नॉनवेज भोजन एक साथ मिलता है वहाँ खाने-पीने का त्याग ।
4. टीवी देखते हुए एवं मोबाइल चलाते हुए भोजन करने का त्याग।
5.सबसे महत्वपूर्ण संकल्प: मुनि निन्दा करने व सुनने का त्याग एवं विवादरहित समाज बनाने का संकल्प के साथ विवाद में पड़ने व सामाजिक विवाद करने का त्याग करवाया।
इन पाँच परमाणु व्रतों को पालन में गलती से नियम टूट जाने पर किसी एक व्यक्ति को इस अभियान से जोड़कर प्रायश्चित करे इस तरह से अनोखे संकल्पों के साथ मुनिश्री प्रज्ञा सागर जी महाराज ने गुरु पूर्णिमा की अनोखी परम्परा का आगाज़ किया साथ ही मुनिश्री ने बहुत ही मार्मिक विचार रख कर सभी को सोचने में मजबूर कर दिया।

मुनिश्री ने कहा मैं चाहता हूँ अब विवाद रहित समाज का निर्माण हो ये मेरा सपनो के भारत का एक नया सृजन होगा यदि आप ये संकल्प ले की हम एक विवाद रहित समाज का निर्माण करेंगे जो जिस भी पंथ आम्नायों को मानता हो वो उसमे खुश रहे 13 हो या 20 अपने अपने मंदिर में अपनी व्यवस्था अनुसार पूजा पाठ करे व्यर्थ के विवादों में आकर जिनधर्म को झुकने ना दे यदि किसी को किसी मंदिर के रीती रिवाज़ों से आपत्ति है तो अपना स्वयं का अलग मंदिर बना ले पर समाज में विवाद पैदा ना करे मुनि श्री ने कहा आज गुरु पूर्णिमा पर मैं परमपिता से यही प्राथर्ना करूँगा की ये प्रभु देश के 1500 साधु संतों में आपस में ऐसी दोस्ती बना दे, आपस में ऐसा प्रेम स्नेह और एकता का रिश्ता बना दे की इन्हें देख के की समाज में एकता का वो सन्देश जाए की युगों युगों तक याद रखा जाए और सभी श्रावक सिर्फ पिच्छि कमण्डल पर आस्था रख कर मुनि भक्त होने का परिचय देकर एक नव समाज का नव् निर्माण करे इस गुरु पूर्णिमा पर यही संकल्प लेके जाना की हमे सिर्फ और सिर्फ विवाद रहित समाज है बनाना।
साभार: मंजूषा जैन, मुंबई
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